Hyderabad startup appoints dog as CHO to reduce stress | हैदराबाद स्टार्टअप ने तनाव घटाने के लिए गोल्डन रिट्रीवर को CHO बनाया

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हैदराबाद के रॉबॉटिक्स स्टार्टअप ने कर्मचारियों के तनाव को कम करने के लिए गोल्डन रिट्रीवर डॉग ‘डेनवर’ को चीफ हैप्पीनेस ऑफिसर नियुक्त किया है. इससे ऑफिस का माहौल सकारात्मक और सहयोगी बना है.

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अनोखा चीफ हैप्‍पीनेस ऑफ‍िसर – वो आएगा, खाएगा, घूमेगा और चला जाएगा

हाइलाइट्स

  • हैदराबाद स्टार्टअप ने डॉग को CHO नियुक्त किया.
  • गोल्डन रिट्रीवर डॉग ‘डेनवर’ ऑफिस में तनाव कम करता है.
  • डेनवर की मौजूदगी से ऑफिस का माहौल सकारात्मक बना.

कॉर्पोरेट कल्‍चर और उसके टॉक्‍स‍िक एनवायरमेंट के बारे में, बड़ी-बड़ी कंपन‍ियों कर्मचार‍ियों पर पड़ने वाले प्रेशर की कहान‍ियां तो आपने भी खूब सुनी होंगी. लेकिन हैदराबाद के एक रॉबॉट‍िक्‍स स्‍टार्टअप ने इस ‘वर्क प्रेशर’ और कर्मचार‍ियों पर में बढ़ते इस तनाव और टेंशन का बड़ा ही ‘क्‍यूट’ इलाज न‍िकाला है. इस कंपनी ने ऑफिस में एक ‘चीफ हैप्‍पीनेस ऑफिसर’ के तौर पर डेनवर को अपॉइंट क‍िया है. ये डेनवर कोई और नहीं बल्‍कि एक गोल्डन रिट्रीवर डॉग है, जो कंपनी में CHO के तौर पर न‍ियुक्‍त क‍िया गया है. इस स्‍टार्टअप ने जैसे ही अपने CHO की तस्‍वीर सोशल मीड‍िया पर शेयर की, इंटरनेट पर हंगामा ही मच गया. अपने कर्मचार‍ियों की पॉज‍िट‍िव मेंटल हेल्‍थ के ल‍िए उठाया गया कंपनी का ये कदम सोशल मीड‍िया पर खूब तारीफें पा रहा है.

क्यों बना डेनवर CHO?
इस स्टार्टअप ने महसूस कि इस तेज रफ्तार तकनीकी दुनिया में लगातार काम के दबाव और तनाव से कर्मचारियों को राहत दिलाने के लिए एक दोस्ताना माहौल की जरूरत है. यहीं से डेनवर की एंट्री हुई – एक बेहद मिलनसार, शांत स्वभाव वाला और कर्मचारियों का मनपसंद गोल्डन रिट्रीवर. डेनवर अब ऑफिस में हर दिन मौजूद रहता है, टीम मीटिंग्स का हिस्सा बनता है और पूंछ ह‍िलाते हुए पूरे ऑफिस में घूमता है. डेनवर कर्मचारियों के बीच घुलमिल चुका है और तनाव को कम करने वाला एक नेचुरल थैरेपिस्ट बन चुका है.

डेनवर की मौजूदगी का असर

Harvesting Robotics के को-फाउंडर राहुल अरेपका ने LinkedIn पोस्‍ट में बताया कि डेनवर के ऑफिस में रहने से वे ज्यादा रिलैक्स, खुश और ऊर्जावान महसूस करते हैं. इससे टीम के सदस्यों के बीच बातचीत और सहयोग बढ़ा है. ऑफिस का माहौल हल्का-फुल्का और सकारात्मक बना है. राहुल ने अपने पोस्‍ट में बताया, “हमने महसूस किया कि केवल डेडलाइंस और टारगेट्स से ऑफिस नहीं चलता. कर्मचारियों की भावनात्मक सेहत भी उतनी ही जरूरी है. डेनवर की उपस्थिति हमारे लिए खुशियों का सोर्स बन गई है.’

कंपनी के को-फाउंडर राहुल अरेपका ने LinkedIn पोस्‍ट में बताया कि डेनवर के ऑफिस में रहने से वे ज्यादा रिलैक्स और खुश महसूस करते हैं.

भारत में बढ़ रहा है पेट-फ्रेंडली ऑफिस कल्चर

जहां पश्चिमी देशों में गूगल, अमेजन जैसी कंपनियां पहले से ही पेट-फ्रेंडली ऑफिसेस चला रही हैं, वहीं अब भारत में भी यह ट्रेंड धीरे-धीरे जोर पकड़ रहा है. बेंगलुरु, मुंबई, हैदराबाद जैसे शहरों की कई स्टार्टअप्स और क्रिएटिव एजेंसियां अब इस दिशा में पहल कर रही हैं. ये कोशिशें कॉर्पोरेट कल्‍चर में कर्मचारियों की इमोशनल वेलबीइंग और वर्कप्लेस हैप्पीनेस की तरफ बढ़‍िया कदम है.

पेट-फ्रेंडली ऑफिस के फायदे:

तनाव और रक्तचाप में कमी
कर्मचारियों की संतुष्टि और जॉब रिटेंशन में सुधार
बेहतर कार्य-जीवन संतुलन
काम के माहौल में अपनापन और सकारात्मकता

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Deepika Sharma

दीपिका शर्मा प‍िछले 5 सालों से News18 Hindi में काम कर रही हैं. News Editor के पद पर रहते हुए Entertainment सेक्‍शन को 4 सालों तक लीड करने के साथ अब Lifestyle, Astrology और Dharma की टीम को लीड कर रही हैं. पत्र…और पढ़ें

दीपिका शर्मा प‍िछले 5 सालों से News18 Hindi में काम कर रही हैं. News Editor के पद पर रहते हुए Entertainment सेक्‍शन को 4 सालों तक लीड करने के साथ अब Lifestyle, Astrology और Dharma की टीम को लीड कर रही हैं. पत्र… और पढ़ें

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